बीएनपी न्यूज डेस्क। धार्मिक और आध्यात्मिक यात्रा पर निकली गुजरात की संत मण्डली का शनिवार को काशी आगमन हुआ। कुण्डलधाम, गुजरात (वड़ताल) के स्वामी ज्ञान जीवन दास जी के सान्निध्य में स्वामी ईश्वर शरण दास जी सहित लगभग 70 सन्तों का जत्था मछोदरी स्थित श्री स्वामी नारायण मंदिर पहुंचा, जहां मन्दिर के महंत स्वामी प्रेम स्वरूप दास जी एवं ने क्षेत्रीय पार्षद कुंवरकांत सिंह ने माल्यार्पण कर सभी का स्वागत किया। वहीं, पंडित चिंतामणि ने वैदिक मंत्रोच्चार किया। इस दौरान भावेश एवं दिनेश भी मौजूद थे।
रविवार को सुबह गंगा स्नान के बाद मां गंगा का पूजन और अभिषेक कर संत मण्डली अभिभूत हो गई। इसी क्रम में गाय घाट से अस्सी घाट तक गंगा की मध्य धारा पर नौका विहार किया और पौराणिक घाटों की अनूठी सुंदरता देख प्रसन्न हो उठा। इसके पश्चात सभी ललिता घाट पहुंचे जहां नवनिर्मित गंगा द्वार को अपलक निहारते रहे। इसी द्वार से प्रवेश करते हुए संत मण्डली नव्य-दिव्य और भव्य श्री काशी विश्वनाथ धाम पहुंची। मंदिर में सविधि बाबा का दर्शन कर पूरी मण्डली ऐसे आनन्दित हुई मानो उन्हें तीनों लोक का सुख प्राप्त हो गया। सभी स्वयं को दर्शन के पुण्यभागी बनाये और विश्व कल्याण की प्रार्थना कर शीश नवाएं। संतों ने विश्वनाथ धाम के अवलोकन का अवसर भी नहीं गंवाया और धाम की बनावट पर उनका अंतर्मन अघाया। सभी चकित और उनका मन मुदित रहा।
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बाबा दरबार में अपनी हाजिरी लगाने के बाद संत मण्डली ने संकट मोचन मन्दिर, दुर्गा मंदिर, बीएचयू विश्वनाथ मंदिर और काशी के कोतवाल बाबा काल भैरव मंदिर में भी विधिवत दर्शन-पूजन किया इसके बाद पुनः सभी स्वामी नारायण मंदिर पहुंचे जहां रात्रि विश्राम किया। यात्रा पर निकला यह दल सोमवार की सुबह अयोध्या नगरी के लिए प्रस्थान करेगा। अयोध्या से छपैया और हरिद्वार भी जाएगा। गौरतलब है कि संत मण्डली गुजरात से महाकालेश्वर (उज्जैन), चित्रकूट और प्रयागराज होते हुए काशी पहुंची थी।
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