BNP NEWS DESK। No Mosque Country दुनिया में दो ऐसे देश हैं, जहां मस्जिद नहीं है. उसको बनाने की मांग बरसों से होती रही है लेकिन सरकार इसकी अनुमति नहीं देती. संयोग से ये दोनों ही देश नए देश हैं. एक स्लोवाकिया है, जो चेकोस्लोवाकिया से टूटकर बना है तो दूसरा देश इस्तोनिया, हालांकि ये बात भी सही है कि वहां रहने वाले मुस्लिमों की संख्या भी काफी कम है. ऐसे में वो किसी फ्लैट या कल्चर सेंटर में नमाज अता करने का काम करते हैं.
इस्तोनिया में मुस्लिम आबादी बहुत कम है. वर्ष 2011 जनगणना के अनुसार वहां तब 1508 मुस्लिम रहते थे, यानि वहां की आबादी का केवल 0.14 फीसदी हिस्सा. हालांकि निश्चित तौर पर अब तक इसमें बढोतरी हुई होगी लेकिन अब ये संख्या बहुत कम है.
यहां कोई मस्जिद नहीं है. अलबत्ता एक इस्लामिक कल्चर सेंटर जरूर है, जहां आमतौर पर मुस्लिम नमाज के लिए इकट्ठा होते हैं. यहां आमतौर पर सुन्नी तातार और शिया अजेरी मुस्लिम रहते हैं, जो कभी रूसी सेना में नौकरी किया करते थे. एस्तोनिया में कुछ जगहों पर लोग नमाज के लिए किसी कामन फ्लैट में भी इकट्ठा होते हैं. यहां सुन्नी और शिया साथ ही नमाज पढ़ लेते हैं. यहां के मुस्लिमों को आमतौर पर माडरेट माना जाता है.
इस्तोनिया का विलय 1940 के आसपास सोवियत संघ में हुआ. जब सोवियत संघ टूटा तो उसने 1991 में खुद को अलग देश घोषित कर दिया. अब ये यूरोपीय यूनियन का सदस्य है और खुशहाल देशों में गिना जाता है.
स्लोवाकिया में हैं कितने मुस्लिम
No Mosque Country वहीं स्लोवाकिया में 2010 में यहां मुस्लिमों की आबादी 5000 के आसपास थी. वो देश की कुल आबादी का 0.1 फीसदी थे. यहां जो मुस्लिम 17वीं सदी के आसपास आए वो तुर्क और उइगर थे, जो स्लोवाकिया के मध्य और दक्षिण हिस्से में बस गए. कभी ये देश यूगोस्लाविया कहलाता था. उसके बाद ये जब टूटा तो स्लोवाकिया अलग देश बन गया.
यूगोस्लाविया टूटने से बने अन्य देशों बोस्निया और अल्बानिया से भी तमाम मुस्लिम यहां शरणार्थी के रूप में पहुंचे. यहां की राजधानी ब्रातिसिओवा है. यहां एशियाई मुल्कों से आए अऩ्य मुस्लिम भी रहते हैं.
मस्जिद पर विवाद होता रहा है
स्लोवाकिया यूरोपीय यूनियन का सदस्य जरूर है लेकिन वो ऐसा देश है, जो सबसे आखिर में इसका सदस्य बना. यहां कोई मस्जिद नहीं है. इसे लेकर विवाद भी होता रहा है. वर्ष 2000 में स्लोवाकिया की राजधानी में इस्लामिक सेंटर बनाने पर बहुत विवाद हुआ. ब्रातिसिओवा के मेयर ने स्लोवाक इस्लामिक वक्फ फाउंडेशन के ऐसे किसी भी प्रस्ताव को खारिज कर दिया.
इसलिए मुस्लिम शरणार्थियों को नहीं दी अनुमति
वर्ष 2015 में जब यूरोप के सामने शरणार्थियों का प्रवास एक बड़ा मुद्दा बना हुआ था, तब स्लोवाकिया ने 200 ईसाइयों को शरण दी लेकिन उसने मुस्लिमों को शरण देने से मना कर दिया. तब स्लोवाक के विदेश मंत्रालय ने अपने इस फैसले पर स्पष्टीकरण दिया कि उनके यहां मुस्लिमों के इबादत की कोई जगह नहीं है और ऐसा होने की सूरत में मुस्लिमों को शरण देना देश में कई समस्याएं पैदा कर सकती है. हालांकि उसके इस फैसले की यूरोपीय यूनियन ने आलोचना भी की.
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No Mosque Country
दुनिया में दो ऐसे देश हैं, जहां मस्जिद नहीं है. उसको बनाने की मांग बरसों से होती रही है लेकिन सरकार इसकी अनुमति नहीं देती.
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