BNP NEWS DESK। Naga Saint श्री शंभू पंचदशनाम आह्वान अखाड़ा के नागा संन्यासियों की पेशवाई अखाड़ा के देवता सिद्ध गणेश अखाड़ा के निशान देवता प्रसाद गणेश (भाला) के पूजन साथ दशाश्वमेध घाट स्थित अखाड़ा मुख्यालय के लिए निकला। बेनियाबाग होते हुए यह राजसी यात्रा (पेशवाई) चली।
अखाड़े के संरक्षक, सभापति, श्रीमहंत, महामंडलेश्वर, थानापति, रमता पंच आदि सुसज्जित श्वेताशवों के रथ पर सवार होकर चले तो साथ में सैकड़ों नागा संन्यासी हाथों में तलवार, भाले आदि अस्त्र-शस्त्र लेकर युद्ध कला का प्रदर्शन करते हुए चल रहे थे।
Naga Saint नागा संन्यासियों के दर्शन के लिए सड़क के दोनों ओर लाखों की संख्या में श्रद्धालु अटे पड़े थे। हर-हर महादेव के उद्घोष के बीच संन्यासियों का जत्था मंथर गति से आगे बढ़ता रहा। लोग संन्यासियों पर पुष्प वर्षा कर उनका आशीर्वाद प्राप्त कर रहे थे।
रथों पर सवार संन्यासियों द्वारा श्रद्धालुओं की ओर फेंके जा रहे फूलों को आशीर्वाद स्वरूप प्राप्त करने की लोगों में होड़ मची रही। ढोल – नगाड़ों, बैंड बाजों की धुन पर नाचते-गाते साधु भगवान गणेश की रजत पालकी लेकर दशाश्वमेध घाट पर गंगा स्नान पहुंचे।
साधु-और संतों को स्नान में कोई दिक्कत न हो इसके लिए जल पुलिस ने व्यापक प्रबन्ध किए गए थे। नौकाओं को 10 मीटर दूर बांधने को कहा गया था। इसके अलावा मन्दिर जाने वाले लोगों को भी लाइन लग कर ही दर्शन करने को कहा गया।
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