बीएनपी न्यूज डेस्क। Protest against Agneepath scheme, बिहार के कई हिस्सों में लगातार चौथे दिन भी अग्निपथ योजना के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन जारी रहा। प्रदर्शनकारियों ने शनिवार को जहानाबाद जिले में तेहटा पुलिस चौकी परिसर के अंदर खड़े एक ट्रक और एक बस समेत कई वाहनों को आग के हवाले कर दिया।
वामपंथी अखिल भारतीय छात्र संघ (आईसा) के नेतृत्व में छात्र संगठनों द्वारा आहूत राज्यव्यापी बंद के मद्देनजर गया, बक्सर, जहानाबाद सहित राज्य के कुछ अन्य हिस्सों में शनिवार को सड़क परिवहन सेवाएं प्रभावित हुईं और आपात सेवाओं को छोड़कर अधिकांश दुकानें व अन्य व्यावसायिक प्रतिष्ठान बंद रहे।
बिहार की मुख्य विपक्षी पार्टी राष्ट्रीय जनता दल (राजद), प्रदेश में सत्ता में शामिल हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा (सेक्युलर) और विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) सहित विभिन्न राजनीतिक दलों ने बिहार बंद को अपना समर्थन दिया है।
उधर, रेलवे ने नुकसान की आशंका को देखते हुए कई ट्रेन या तो रद्द कर दीं या फिर उनका परिचालन रोक दिया।
इस बीच, बिहार सरकार ने शुक्रवार को अग्निपथ योजना के मुद्दे पर राज्यभर में हुई व्यापक हिंसा की पृष्ठभूमि में 12 जिलों में 19 जून तक इंटरनेट सेवाओं को बंद कर दिया है।
गृह विभाग की ओर से जारी आदेश के मुताबिक, कैमूर, भोजपुर, औरंगाबाद, रोहतास, बक्सर, नवादा, पश्चिमी चंपारण, समस्तीपुर, लखीसराय, बेगूसराय, वैशाली और सारण जिले में इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गई हैं।
अधिकारियों ने राज्य के कई जिलों में किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए पांच या उससे अधिक लोगों के इकट्ठा होने पर भी पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया है।
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा, ‘‘सशस्त्र बलों के लिए केंद्र सरकार की अग्निपथ योजना के खिलाफ बिहार में जारी विरोध-प्रदर्शन को देखते हुए राज्य के कुछ जिलों में दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 144 लागू कर दी गई है।’’
जहानाबाद जिले में शनिवार सुबह करीब साढ़े आठ बजे तेहटा पुलिस चौकी के पास बड़ी संख्या में प्रदर्शनकारी जमा हो गए और सुरक्षाकर्मियों पर पथराव शुरू कर दिया।
अधिकारियों के मुताबिक, बाद में प्रदर्शनकारियों ने पुलिस चौकी के अंदर खड़े एक ट्रक और एक बस सहित कई वाहनों को आग के हवाले कर दिया।
इस बीच, केंद्रीय गृह मंत्रालय ने शनिवार को केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ) और असम राइफल्स की भर्ती में ‘अग्निवीरों’ के लिए 10 प्रतिशत आरक्षण की घोषणा की है।
गृह मंत्रालय ने सीएपीएफ और असम राइफल्स में ‘अग्निवीरों’ की भर्ती के लिए ऊपरी आयु सीमा में तीन साल की छूट देने का भी फैसला किया है।
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