BNP News Desk। Majestic Horse पूर्वी एशियाई देशों के साथ सामरिक साझेदारी को बढ़ावा देने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह 5 से 7 सितंबर तक मंगोलिया की आधिकारिक यात्रा पर थे। यह मंगोलिया की किसी भारतीय रक्षा मंत्री की अब तक की फर्स्ट विजिट थी। इस दौरान मंगोलिया के राष्ट्रपति यू खुरेलसुख ने भारत को एक राजसी घोड़ा गिफ्ट में दिया। इस गिफ्ट पर प्रतिक्रिया देत हुए राजनाथ सिंह ने कहा-“मंगोलिया में हमारे खास दोस्तों की ओर से एक खास तोहफा। इस शानदार खूबसूरती का नाम मैंने ‘तेजस’ रखा है। धन्यवाद राष्ट्रपति खुरेलसुख..धन्यवाद मंगोलिया।
जानिए क्यों खास है मंगोलियन राजसी घोड़ा: मंगोल घोड़ा जिसे मोरी भी कहते हैं, मंगोलिया की मूल घोड़े की नस्ल है। इस घोड़े का रिश्ता चंगेज खान के समय से रहा है। सबसे बड़ी बात तब से अब तक इसकी ब्रीड में कोई बदलाव नहीं आया है। पारंपरिक मंगोल फैशन यानी जीवनशैली में रहने वाले मंगोलियन खानाबदोश के पास आज भी 3 मिलियन हॉर्स हैं। ये घोड़े इतने ताकवर होते हैं कि पूरे साल घुमंतू रहते हैं। चाहे कितनी भी भीषण गर्मी हो या हाड़ कंपाने वाली सर्दी, ये हर मौसम में बाहर ही चरते हैं।
इन घोड़ों का उपयोग खानाबदोशों के रोजमर्रा के कामों के अलावा और घुड़दौड़ दोनों में किया जाता है। बता दें कि मंगोलिया पूर्व और मध्य एशिया में एक भूमि से घिरा (लेंडलॉक) देश है। इसकी सीमाएं उत्तर में रूस, दक्षिण, पूर्वी और पश्चिमी में चीन से मिलती हैं। मंगोलिया में संसदीय गणतंत्र है। मंगोलिया पर विभिन्न घुमंतू साम्राज्यों ने शासन किया। इन साम्राज्यों में शिंओग्नु, शियानबेई, रोऊरन, गोतुर्क और अन्य शामिल हैं। 1206 में चिंगिस उर्फ चंगेज खान, जन्म-1162, मौत-18 अगस्त, 1227) ने मंगोल साम्राज्य की स्थापना की थी। इतिहास में चंगेज खान को एक क्रूर लुटेरा और शासक माना जाता है। जिसने अपनी पूरी जिंदगी युद्ध में गुजारी।
मंगोलियन घोड़ी के दूध को नेशनल पेय मिल्क के तौर पर प्रोसेस्ड यानी संसाधित किया जाता है। इस दूध को यहां ऐराग कहते हैं। कुछ लोग इसे कुमिस भी कहते हैं। ऐराग में आमतौर पर केवल 2% अल्कोहल होता है। इसमें थोड़ा खट्टापन होता है, फिर भी स्वादिष्ट स्वाद होता है, जो ज्यादातर लोगों को पसंद आता है। यह दुनिया के कुछ मादक पेय पदार्थों में से एक है, जो विटामिन और खनिजों का एक शक्तिशाली स्रोत भी है।
सबसे बड़ी बात यह दूध लैक्टोज इनटोलरेंट पी सकते हैं। दरअसल, लैक्टोज इनटोलरेंट एक तरह की बीमारी है, जिसमें मरीज डेयरी उत्पादों में चीनी (लैक्टोज) को पूरी तरह से पचाने में असमर्थ होते हैं। लैक्टोज लैक्टोज इनटोलरेंट यानी असहिष्णुता आमतौर पर शरीर में लैक्टेज नामक एंजाइम की कमी के कारण होती है। इसके लक्षणों में पेट में ऐंठन, सूजन और दस्त शामिल हो सकते हैं।
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पूर्वी एशियाई देशों के साथ सामरिक साझेदारी को बढ़ावा देने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह 5 से 7 सितंबर तक मंगोलिया की आधिकारिक यात्रा पर थे।
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